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स्मृति इरानी ने दिल्ली में खाली किया आवास

अमेठी: उत्तर प्रदेश के अमेठी की पूर्व सांसद स्मृति इरानी क्या अब यहां पर रहने वाली हैं? यह सवाल लगातार किया जा रहा है। दरअसल, भारतीय जनता पा...


अमेठी: उत्तर प्रदेश के अमेठी की पूर्व सांसद स्मृति इरानी क्या अब यहां पर रहने वाली हैं? यह सवाल लगातार किया जा रहा है। दरअसल, भारतीय जनता पार्टी की दिग्गज नेता ने दिल्ली का सरकारी बंगला खाली कर दिया है। लोकसभा चुनाव में अमेठी सीट से हार के बाद स्मृति को वह तवज्जो नहीं मिल पाई। उन्हें केंद्रीय मंत्रिमंडल में जगह नहीं मिला। वहीं, अब वह किसी भी सदन की सदस्य नहीं हैं। ऐसे में उन्हें बंगला खाली करने का नोटिस जारी किया था। शहरी विकास मंत्रालय के डायरेक्टर ऑफ एस्टेट ने उन्हें बंगला खाली करने का नोटिस दिया था। 11 जुलाई तक उन्हें बंगला खाली करना था। हालांकि, उन्होंने पहले ही लुटियंस के बंगले को खाली कर दिया है।

अमेठी से मिली थी हार

लोकसभा चुनाव 2024 में स्मृति इरानी को सपा-कांग्रेस गठबंधन के उम्मीदवार केएल शर्मा के हाथों हार का सामना करना पड़ा। अमेठी से स्मृति इरानी तीसरी बार चुनावी मैदान में उतरी थीं। 2014 के लोकसभा चुनाव में उन्हें कांग्रेस के निवर्तमान सांसद राहुल गांधी के हाथों हार का सामना करना पड़ा था। हालांकि, उन्होंने इस चुनाव में राहुल गांधी को कड़ी टक्कर दी थी। चुनाव में भाजपा को पूर्ण बहुमत मिला। इसके बाद बनी पहली नरेंद्र मोदी सरकार में स्मृति इरानी को केंद्रीय मंत्री बनाया गया।

2014 में अमेठी में हार को स्मृति ने चुनौती के रूप में लिया। वह अमेठी में डट गईं। लगातार पांच सालों तक लोगों के बीच रहीं। इसका परिणाम 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्हें मिला। स्मृति इरानी ने चुनाव में कांग्रेस के तत्कालीन अध्यक्ष राहुल गांधी को अमेठी से हराकर इतिहास रच दिया। राहुल गांधी इस चुनाव में केरल के वायनाड सीट से भी चुनाव लड़ा था। वहां से जीत कर वे संसद तक पहुंचे। वहीं, स्मृति ने अमेठी में कमल खिलाकर मोदी कैबिनेट में फिर जगह बनाई।

लोकसभा चुनाव 2019 के बाद से अमेठी आना-जाना स्मृति का लगा रहा। लेकिन, वह लोगों के बीच अलोकप्रिय होने लगी। ऐसे में लोगों के बीच राजीव गांधी काल से ही काम कर रहे केएल शर्मा को कांग्रेस ने उम्मीदवार बनाया। गांधी परिवार के करीबी केएल शर्मा ने अमेठी में स्मृति को घेर लिया। उन्हें हार का सामना करना पड़ा। मोदी कैबिनेट में तीसरी बार जगह बनाने में वह कामयाब नहीं रहीं। ऐसे में अब उन्हें दिल्ली का बंगला खाली करना पड़ा है।


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