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हाथियों के दल ने ग्रामीणों के फसलो को पहुंचाया नुकसान

  रायगढ़ ।  जिले के जंगलों में इन दिनों 120 हाथी विचरण कर रहे हैं। आलम यह है कि पिछले साल की तुलना में इस वर्ष 8 माह में मानव द्वंद की घटनाएं...

 


रायगढ़ ।  जिले के जंगलों में इन दिनों 120 हाथी विचरण कर रहे हैं। आलम यह है कि पिछले साल की तुलना में इस वर्ष 8 माह में मानव द्वंद की घटनाएं जिले में एक्का- दुक्का ही रहा हैं।

चूंकि पड़ोसी जिले से हाथियों की धमक होते ही जिले के दोनों वन मंडल के दर्जनों किसानों के मिट्टी के मकानों को क्षतिग्रस्त करते हुए धान और बाड़ियो को नुकसान पहुंचाया है।

वन विभाग आर्थिक नुकसान का आंकलन कर कार्रवाई में जुट गई है।

रायगढ़ जिले में एक बार फिर से हाथियों की संख्या में इजाफा हुआ है। दो माह के अंतराल की रिपोर्ट में पहले जहां रायगढ़ और धरमजयगढ़ दोनों वन मंडल को मिलाकर कुल 97 से 98 हाथी विचरण कर रहे थे, वहीं हाथियों की संख्या अब 120 तक पहुंच गई है। जबकि जुलाई-अगस्त में यह संख्या 124 तक थी। जिसमे नर मादा के साथ अलग-अलग झुंड में हाथी विचरण कर रहे थे। वर्तमान में दूसरे जिले से हाथियों का झुंड इस झुंड में शामिल होते ही आक्रामक मुद्रा में है।



इसी माह एक 4 दिन पहले हमले एक युवक की मौत हुई है जबकि एक दूसरी घटना में एक ग्रामीण घायल हुआ है। वहीं रायगढ़ वन मंडल के घरघोड़ा वन परिक्षेत्र के अंतर्गत आने वाले कमतरा बीट में दो ग्रामीणों के मकान को क्षति पहुंचाया है।

इसके साथ ही धरमजयगढ़ के अति संवेदनशील गांव में हाथियों की दस्तक से ग्रामीण उनके व्यवहार शैली से भयभीत हैं। वही हाथी भी लगातार खेत में चलकर किसानों के फसलों को नुकसान कर रहे हैं। किसान अपनी बाड़ी व खेत में जो कच्चे मकान बनाए हैं उन्हें हाथियों का दल तोड़ रहे है। दो दिन से लगातार हाथियों के खेत व बाड़ियों को नुकसान पहुंचाने से किसानों में दहशत है।

अति संवेदनशील गांव में हाथी है आक्रामक शैली में

जिले के दोनों वन मंडल में अति संवेदनशील ओंगना वन परिक्षेत्र के विजयनगर, मोहलीपारा, सुखापारा में 21 , सिंघीझाप, गडाईनबहरी में 11 , खलबोरा, दर्रीडीह, में 5 , फत्तेपुर, उद्उदा में 4 के अलावा बोजिया में 3 किसानों की धान की फसलों को हाथियों ने नुकसान पहुंचाया है।

मानव द्वंद रोकने सुरक्षा घेरा के लिए बैठकों का दौर

जिले के धरमजयगढ़ के अति संवेदनशील गांव जो जंगल के बीच बसे है उनमें बैठक चल रही है यह बैठक मानव द्वंद रोकने तथा दोनो जीवों के जीवन को सुरक्षित रखने का प्रयास कर रहे है। जंगल में हाथियों की मौजूदगी को देखते हुए गांव-गांव में बैठक करके गांव के ग्रामीणों को अलर्ट किया जाता है। ग्रामीणों को किसी भी हाल में जंगल की तरफ नही जाने की सलाह दी जा रही है। बैठक का उद्देश्य जनहानि की घटना न हो।

30 बच्चे के साथ 124 हाथी जिले में

वन विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक रायगढ़ जिले के जंगलों में विचरण करने वाले हाथियों में इन दिनों नर हाथी की संख्या 32, मादा हाथी की संख्या 58 के अलावा 30 हाथी बच्चे शामिल है। ये अलग-अलग झुंड में विचरण कर रहे है। 

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